तू मुझे भूल ना जाये
इसलिए याद करती हूँ
देख तेरे लिए ही
जीती और मरती हूँ
और इक तू है
पास होकर भी
पास नही होताइसलिए याद करती हूँ
देख तेरे लिए ही
जीती और मरती हूँ
और इक तू है
पास होकर भी
तेरा दिल मेरे
साथ नहीं होता
तेरे दिल की खिड़की में
अब कोई दरवाज़ा मेरे लिए
खुला नहीं होता
तू जो मुझे अपनी
जान कहता था
आज तेरे लिए
बेजान हूँ मैं
तेरी मोहब्बत की
जंजीरों में जकड़ी
मेरी मोहब्बत का
दम घुटा जाता है
ए सुनो
क्या ऐसे भूला जाता है ?
सीखा दो मुझे भी..........
31 टिप्पणियां:
सीखा थोड़े न जाता है , यह तो स्वभाव होता है
प्रेम की पीड़ा कस्टदायक होती है
कोई यूँ भुला दे तो बड़ी तकलीफ होती है..
भावमयी करती रचना....
भुला दिया उसने तो कोई गम नहीं..
उसको भी तुम भुला दो तुम भी कम नहीं
मीठी यादों को भुला दिया है जो दिलसे उसने..
तो बहा दो ना तुम भी उसकोअपनी आँखों से..
बेवफा है वो , वो क्या सिखएगा तुम्हे
तुम ही बता दो ना उसे
की तुम्हे भी कोई गम नहीं...
प्रेम की पीड़ा कस्टदायक होती है
कोई यूँ भुला दे तो बड़ी तकलीफ होती है..
भावमयी करती रचना....
क्या ऐसे भूला जाता है ?
सीखा दो मुझे भी..........
मर्मस्पर्शी रचना...
दिल की बातें , दिल ही जाने .
अच्छी कविता . मानवीय संवेदनाओं से परिपूर्ण दिल को छू लेने वाली अभिव्यक्ति .
भूल न पाए इसलिए, करते हम है याद
भूला कैसे जाता सिखा,नही करे फ़रियाद,,,,,,
RECENT POST...: राजनीति,तेरे रूप अनेक,...
प्रेम की टीस कैसी होती है, इसकी सटीक अभिव्यक्ति, शुभकामनाएं.
रामराम.
न्यूटन का तीसरा नियम तो सबको पता ही है - "प्रत्येक क्रिया के विपरीत बराबर प्रतिक्रिया होती है", हालांकि ये विज्ञान की बात है लेकिन हमारे आम जिंदगी में भी काफी जगहों पर लागू होती है ....
मेरे कहने का आशय तो समझ ही गयी होंगी आप ...
बहुत ही सुंदर और भावपूर्ण रचना !!
भुला पाना कलीसि कों क्या इतना आसान है .. हर किसी के बार में होता तो जीवन आसान न हो जाता ...
यदि घटनाओं को भूलना ही आ जाये तो पीड़ा कम हो जायेगी।
न बीती बातें न बीते लम्हे भुलाये जाते हैं , न भुलाना चाहिए क्योकि इन्हीं यादों के सहारे जिंदगी कट जाती है
अभी तो हम ही सीख रहे हैं।
आप सीख जाओ तो हमें भी बता देना...!
marmik.....
बहुत ही सहज शब्दों में कितनी गहरी बात कह दी आपने..... खुबसूरत अभिवयक्ति....
bahut sunder kavita
bahut sundar
हैरत है
. मैंने सोचा अंतिम पंक्ति होगी -जिन्हें भुलाया ही नहीं उन्हें याद कैसे करे कोई
Kaash! Ham bhee bhool jana seekh jaye.....zindagee kuchh to aasaan ho jaye....
प्रेम में भी नशा होता है और जब कोई भूलने के लिये नशे में होता है तो यादे और बेचैन करती हैं.....सही कहा सिखा दो मुझे भी...
प्रेम समान बनने का अवसर देता है बदले की भावना कभी नही।
बहुत ही सरस सम्वेदनशील रचना।
प्रेम में भी नशा होता है और जब कोई भूलने के लिये नशे में होता है तो यादे और बेचैन करती हैं.....सही कहा सिखा दो मुझे भी...
प्रेम समान बनने का अवसर देता है बदले की भावना कभी नही।
बहुत ही सरस सम्वेदनशील रचना।
प्रेम में भी नशा होता है और जब कोई भूलने के लिये नशे में होता है तो यादे और बेचैन करती हैं.....सही कहा सिखा दो मुझे भी...
प्रेम समान बनने का अवसर देता है बदले की भावना कभी नही।
बहुत ही सरस सम्वेदनशील रचना।
प्यार का ्दर्दिला अहसास..
वाह ! बहुत सुन्दर !
bahut he shandaar abhivyakti..wish u all the very best
shandar rachna...best wishes
भूलना सीख के भी भूल न पाएंगी ......
चाहे तो कोशिश कर लीजिए..
अनु
भावमय करते शब्द ...
VANADANA JI , BHAVABHIVYAKTI BAHUT
ACHCHHEE LAGEE HAI . MERE IN SHERON
PAR GAUR FARMAAEEYEGA -
HUM KAHAAN UNKO YAAD AATE HAIN
BHOOLNE WAALE BHOOL JAATE HAIN
----------
KOEE AESE BHEE BHOOL JAATAA HAI
JAESE TUMNE BHULAA DIYAA MUJHKO
VANADANA JI , BHAVABHIVYAKTI BAHUT
ACHCHHEE LAGEE HAI . MERE IN SHERON
PAR GAUR FARMAAEEYEGA -
HUM KAHAAN UNKO YAAD AATE HAIN
BHOOLNE WAALE BHOOL JAATE HAIN
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KOEE AESE BHEE BHOOL JAATAA HAI
JAESE TUMNE BHULAA DIYAA MUJHKO
वंदना जी, मुझे क्षमा कीजियेगा...किन्तु मै समझ नही पा रहा कि, एक बार की हुई टिप्पणी तीन बार कैसे पोस्ट हो गई? यदि आप हटा सकें तो निसंकोच मेरी व्यर्थ की अधिक छपी हुई दो टिप्पणियों हटा दे........सादर।
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